राज्य सरकार द्वारा पिछले दिनों राज्य शहरों एवं ग्रामीण क्षेत्रों में जोर शोर से प्रचार प्रसार के साथ महंगाई राहत कैंपों का आयोजन कर विभिन्न योजनाओं का लाभ देने के लिए आम जनता के रजिस्ट्रेशन किये थे। इन कैंपों में रजिस्ट्रेशन करने के बाद आम जन को मुख्यमंत्री के फोटो एवं हस्ताक्षर युक्त गारन्टी कार्ड देकर लाभार्थियों का फोटो मीडिया में प्रचारित किया जाता रहा। लेकिन मुख्यमंत्री के द्वारा दी गई गारन्टी फैल होती नजर आ रही है। रजिस्ट्रेशन कराने के बाद लोग अपने आप को ठगा सा महसूस कर रहे है। जिला मुख्यालय पर आलनपुर निवासी प्रहलाद शर्मा ने बताया कि पहले उन्हे वृद्धा वस्था पेंशन के 500 रूपये मिला करते थे। बाद में सरकार ने सामाजिक पेंशन की राशि बढ़ाकर 750 रूपये कर दी थी। उसके बाद उन्हें एक बार 750 रूपये की पेंशन मिली थी।
उसके बाद पिछले करीब 6 माह से पेंशन नहीं आ रही है। उन्होने बताया कि जब पेंशन बन्द होने के बारे में जानकारी की तो उनको बताया गया कि ई-मित्र पर जाकर पुनः पेंशन का नवीनीकरण सत्यापन कराना होगा। इस पर उन्होंने ई-मित्र के माध्यम से पेंशन का स्त्यापन कर लिया। ई-मित्र वाले ने बताया कि अब पेंशन मिल जायेगी। लेकिन उसके बाद भी पेंशन नहीं मिली। इस पर उन्होंने जानकारी की तो बताया कि अब सरकार ने पेंशन को बढ़ाकर 1000 रूपये कर दिया है लेकिन अब पेंशन प्राप्त करने के लिए पहले महंगाई राहत कैंप में रजिस्ट्रेशन कराना होगा। प्रहलाद शर्मा ने बताया कि उन्होने तथा उनके जैसे क्षेत्र के कई महिला-पुरूषों ने महंगाई राहत कैंप में जनाधान कार्ड ले जाकर रजिस्ट्रेशन करवाया।
वहां उन्हें मुख्यमंत्री के फोटो वाला पेंशन की गारन्टी वाला कार्ड भी दिया गया। जिस पर रजिस्ट्रेशन के नम्बर की पर्ची भी चिपकाई गई थी। लेकिन इसके बाद भी उनकी पेंशन नहीं आयी। उन्होंने बताया कि जब महंगाई राहत कैंप में रजिस्ट्रेशन के बाद भी जब पेंशन नहीं आई तो उन्होंने सरकार की हेल्पलाइन नम्बर 181 पर शिकायत के लिए फोन किया। तो हेल्पलाइन प्रतिनिधि ने बताया कि महंगाई राहत कैंप में आपका रजिस्ट्रेशन ही नहीं हुआ है या रजिस्ट्रेशन फैल हो गया है। ऐसे में उनके जैसे कई वृद्ध लोग जो पूर्व में वृद्धावस्था सामाजिक पेंशन प्राप्त कर रहे थे। अब अपने आप को ठगा सा महसूस कर रहे है। उनका कहना है कि पहले 500 रूपये पेंशन मिल रही थी। लेकिन अब सरकार पेंशन बढ़ाने का ढिंढोरा पीट रही है।
उसके लिए रजिस्ट्रेशन के लिए चक्कर पे चक्कर खिला रही है। लेकिन अब रजिस्ट्रेशन कराने के बाद पेंशन बढ़ने के बजाय पहले मिलने वाली पेंशन भी नहीं मिल रही है। ऐसे में वृद्धावस्था पेंशन से अपना गुजारा करने वाले गरीब वृद्ध लोगों को बड़ी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। वहीं ऐसे लोगों की इस पीड़ा का समाधान करने वाला कोई नहीं है। किसी जनप्रतिनिधि या प्रशासन का इस पर कोई ध्यान नहीं है। उल्लेखनीय है कि जिले के सामाजिक कार्यकर्ता एवं उपभोक्ता मामलों के वरिष्ठ अधिवक्ता हरिप्रसाद योगी ने भी इस मामले को उठाते हुए ऐसे वृद्धा लोगों को सामाजिक पेंशन समय पर देने की मांग की थी।