नई दिल्ली:- एस जयशंकर ने विदेश मंत्रालय का कार्यभार संभालने पर पाकिस्तान और चीन के साथ संबंधों पर प्रतिक्रिया दी है। विदेश मंत्री पद संभालने के बाद एस जयशंकर ने कहा कि चीन से सीमा विवाद का समाधान निकालना होगा। एस जयशंकर दूसरी बार भारत के विदेश मंत्री बनें है। इससे पहले भी मोदी सरकार में एस जयशंकर विदेश मंत्री थे।
कार्यभार संभालने के बाद एस जयशंकर ने कहा है कि, “भारत को चीन के साथ सीमा विवाद सुलझाने के लिए समाधान खोजने पर ध्यान देना होगा। चार साल पहले लद्दाख क्षेत्र में भारत और चीन के सैनिकों के बीच हुए हिंसक टकराव के बाद से दोनों देशों के बीच सीमा पर गतिरोध बना हुआ है। भारत और चीन के बीच इस दौरान कई दौर की सैन्य स्तर की वार्ताएं भी हुई हैं, लेकिन कोई समाधान नहीं निकल सका है।
एस जयशंकर ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा कि, “किसी भी देश, खासकर लोकतंत्र में किसी भी सरकार का लगातार तीन बार चुने जाना दुनिया को संदेश देता है कि भारत में राजनीतिक स्थिरता है। भारत की जनता अपने प्रधान मंत्री पर विश्वास करती है।” “हम दुनिया के सामने अपने हित जरूर आगे रखेंगे।”
एस जयशंकर ने कहा कि, “चीन और पाकिस्तान अलग देश हैं, वहां रिश्ते भी कुछ अलग हैं, वहां समस्याएं भी कुछ अलग हैं।” “चीन के साथ सीमा में कुछ मुद्दे बाकी बचे हुए हैं। हम कोशिश करेंगे कि उसको कैसे निपटाया जाए।” “पाकिस्तान के साथ सालों से सीमा पार आतंकवाद का मुद्दा है। देखते हैं हम इसका समाधान कैसे कर पाते हैं।” रविवार को नरेंद्र मोदी ने लगातार तीसरी बार भारत के प्रधानमंत्री पद की शपथ ली है। मोदी के साथ 71 अन्य मंत्रियों ने भी शपथ ली है, इनमें एस जयशंकर भी शामिल हैं।
(सोर्स : बीबीसी न्यूज हिन्दी)
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