जिले में अन्तर्राष्ट्रीय बालिका दिवस के अवसर पर विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किये गये। जिला पीसीपीएनडीटी सैल द्वारा एएनएम ट्रेनिंग सेन्टर में अंतर्राष्ट्रीय बालिका दिवस मनाया गया जिसमें मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, आशिष गौतम जिला समन्वयक पीसीपीएनडीटी, सुधीन्द्र शर्मा जिला कार्यक्रम प्रबंधक, सैयद बलिग अहमद प्रिसींपल, सुनील जैमिनी वाईस प्रिसींपल, दिनेश मीना, आशिष महावर, सुरेन्द्र बैरवा, रेखा गोयल नर्सिग ट्यूटरर्स, कृष्ण कुमार गोस्वामी डब्ल्यूएचओं सहित एएनएम प्रशिक्षार्णी उपस्थित रहे।
इस अवसर पर आशिष गौतम जिला समन्वयक (पीसीपीएनडीटी) ने पावर प्रजेन्टेशन के तहत ऑडियो, विडियो व क्लीप के माध्यम से कन्या भ्रूण जांच एवं हत्या को रोकने में विभाग की सहायता करते हुए सूचनाऐं देने की अपील की। उन्होने विभिन्न योजनाओं की जानकारी दी। अंत में सभी को लिंग चयन नही करने एवं ऐसा करने वालों की सूचना देने इत्यादि शपथ दिलवाई गई।
इसी प्रकार स्थानीय आचार्य नानेश शिक्षक शिक्षा महाविद्यालय में संस्था निदेशक रविन्द्र कुमार जैन के मुख्य आतिथ्य एवं प्राचार्य की अध्यक्षता में विश्व बालिका दिवस मनाया गया। कार्यक्रम प्रभारी निधी जैन ने बताया कि हमारा देश आरंभ से ही शक्ति का उपासक रहा है। श्क्ति स्वरूपा माँ दुर्गा ने धर्म की रक्षा हेतु शास्त्र एवं शस्त्र को धारण किया उसी प्रकार आज भी बालिकाओं के समक्ष आत्म चरित्र-रक्षा एक चुनौती है। साथ ही प्रभारी ने कार्यक्रम को आगे बढ़ाते हुए वाद-विवाद प्रतियोगिता की जानकारी दी जिसका विषय बालिकाओं का जन्म, पालन-पोषण और शिक्षा में समानता-असमानता, वंश वृद्धि था।
इसी प्रकार जिले के बौंली उपखण्ड के राजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय हरसोता मे अन्तर्राष्ट्रीय बालिका दिवस पर राज्य सरकार के निर्देशानुसार बालिकाओं को अभिव्यक्ति और नेतृत्व करने का अवसर देने के लिए विभिन्न गतिविधियों का आयोजन किया गया। संस्था प्रधान ओम प्रकाश मीना ने बताया कि इस दिन विद्यालय में प्रार्थना से लेकर स्कूल की छुट्टी होने तक कक्षा आठ की प्रतिभावान बालिका मीनाक्षी प्रजापत ने संस्था प्रधान की भूमिका अदा करते हुए संस्था प्रधान की सभी गतिविधियों को अंजाम दिया। साथ कक्षा तीन से आठ तक की बालिका रूपा सैन, रीना योगी, मोमिता विस्वास अंकिता योगी सहित अन्य बालिकाओं ने प्रार्थना कार्यक्रम, अन्नपूर्णा दुग्ध योजना व मध्याह्न भोजन योजना का क्रियान्वयन से लेकर शिक्षण व्यवस्था में शिक्षक की समस्त जिम्मेदारियों का निर्वाह बालिकाओं ने बेखुबी से किया। इस अवसर पर मीना-राजू कहानी पर नाट्य प्रस्तुतीकरण के साथ ही कविता, स्लोगन प्रतियोगिता का आयोजन भी किया गया। बाल विवाह के दुष्परिणाम बताए गए व विजेता बालिकाओं को पारितोषिक दिया गया। इस दौरान चौथमल सिहंल, ममता शर्मा व प्रेरणा जैन सहित एस एम सी सदस्य उपस्थित थे।