जिले में गर्मी के बढ़ने साथ ही नींबू के भाव ने भी तेवर दिखाने शुरू कर दिए है। बीते एक महीने से जिले के बाहर से नींबू आ रहा है। वहीं गर्मी के दिनों में नींबू की मांग भी लगातार बढ़ती जा रही है। जिले में नींबू की कीमत सेब, अंगूर तथा नारंगी से भी ज्यादा हो गई है। यहां बजरिया सब्जी मंडी में इन दिनों 200 रुपए प्रति किलो की दर से नींबू बिक रहा है। इससे गृहणियों का रसोई का बजट भी गड़बड़ा गया है।
वहीं पिछले एक माह पहले 40 रुपए किलो में बजरिया की सब्जी मंडी में रसदार नींबू मिल रहे थे। वहीं अब अधिक गर्मी बढ़ने के साथ ही नींबू की कीमतों में भी एकाएक उछाल आया है। एक महीने के अंदर ही नींबू के भाव करीब पांच गुना तक बढ़ गए है। लोगों की भी रस में नींबू पहली पसंद होती है। वहीं नींबू के दाम बढ़ने से नीबूं घरों के अतिरिक्त होटल एवं ढाबों से भी गायब हो गया है।
स्थिति ये है कि घर, होटल और ढाबों पर भी सलाद से नींबू (जायका) कम हो गया है। होटल व ढाबा संचालक भी सलाद में नींबू का इस्तेमाल नाममात्र ही कर रहे है। वहीं देखा जाए तो गन्ने के रस, शिंकजी व सब्जियों में भी नींबू का इतेमाल नाममात्र ही कर रहे है। इन दिनों नींबू सेब, अंगूर और अनार से भी महंगा बिक रहा है।
जिले में यहां होती है नींबू की बागवानी
सवाई माधोपुर में मुख्यतया नींबू की बागवानी गोठबिहारी, नायपुर, उमरी, लालपुर, बामनबड़ौदा, करमोदा, सूरवाल, अजनोटी और जड़ावता सहित कई गांवों में होता है। लेकिन इन गांवों में नींबू की बागवानी सदाबहार नहीं होने से जिले में नीबूं का उत्पाद कम हो जाता है। ऐसे ने मौसम में ही नींबू की आवक होती है। गर्मी के सीजन में नींबू कम होता है। ऐसे में जिले की मण्डियों में भी स्थानीय स्तर पर नींबू की आवक नहीं हो पाती है।