नाबालिग दो बहनों को बहला-फुसलाकर भगा ले जाने व सामूहिक बलात्कार करने के मामले की पुलिस जांच में कई चौंकाने वाले खुलासे हुए हैं। दोनों नाबालिग को जयपुर में एसएमएस अस्पताल रोड़ पर बर्खास्त मंत्री राजेन्द्र सिंह गुढ़ा के सरकारी बंगले पर रुकवाया गया था, जहां एक आरोपी ने एक नाबालिग से बलात्कार व देह शोषण किया था। चूरू जिले के एक हिस्ट्रीशीटर ने दोनों नाबालिग बहनों को बर्खास्त मंत्री सरकारी बंगले पर ठहराया था और फिर मामला बिगड़ने की आशंका पर दोनों नाबालिगों के साथ एक आरोपी को वहां से निकाल दिया था। चार आरोपियों की गिरफ्तारी के अब हिस्ट्रीशीटर फरार है। वहीं, बर्खास्त मंत्री से भी पूछताछ की जानी है। पुलिस के अनुसार गत जुलाई में नाबालिग चचेरी बहनें घर से निकलकर बीकानेर पहुंच गई थी, जहां से उन्हें जयपुर व अन्य शहरों में ले जाया गया था। पीपाड़ शहर थाने में दो जुलाई को दोनों के अपहरण का मामला दर्ज किया गया था।
पुलिस ने पंजाब के अंबाला रेलवे स्टेशन से दोनों बहनों को दस्तयाब किया था। पूछताछ के बाद बहला-फुसलाकर भगाने के साथ अपहरण, बलात्कार और सामूहिक बलात्कार व पोक्सो की धाराएं जोड़ी गई थी। दो जुलाई को घर से निकलने के बाद दोनों नाबालिग बीकानेर व सूरतगढ़ पहुंची थी। नौ जुलाई को जयपुर चली गई, जहां से आरोपी अशोक दोनों को एसएमएस अस्पताल रोड़ पर बर्खास्त मंत्री राजेन्द्र सिंह गुढ़ा के सरकारी बंगले ले गया था। चूरू जिले में कसुम्बी निवासी हिस्ट्रीशीटर बंगले पर मौजूद था और उसने बंगले के केयर टेकर गजेन्द्र सिंह की मदद से दोनों नाबालिगों को गेस्ट रूम में रुकवा दिया था। दो दिन बाद हिस्ट्रीशीटर व केयर टेकर ने नाबालिगों व आरोपी को वहां से निकाल दिया था। मामला उजागर होने के बाद हिस्ट्रीशीटर फरार है। वहीं, पुलिस बर्खास्त मंत्री राजेन्द्र सिंह गुढ़ा व बंगले के केयर टेकर से पूछताछ करेगी।
अब तक चार आरोपी गिरफ्तार
30 जुलाई को बीकानेर निवासी अशोक पुत्र ब्रजलाल बिश्नोई व मेघराज पुत्र सूरजाराम जाट को गिरफ्तार कर रिमाण्ड लिया गया था। 9 अगस्त को देशराज और 19 अगस्त को बीकानेर निवासी रामनारायण पुत्र कानाराम निंबाडि़या को गिरफ्तार किया गया था। अशोक व मेघराज पर नाबालिगों बहनों से बलात्कार का आरोप है। वहीं, देशराज व रामनारायण को फर्जी आइडी से होटल में ठहराने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। हिस्ट्रीशीटर श्यामसिंह व आरोपी अशोक बिश्नोई बीकानेर जेल में बंद रहे थे, जहां दोनों में मित्रता हुई थी। जेल से छूटने के बाद अशोक हिस्ट्रीशीटर श्याम सिंह के मार्फत बर्खास्त मंत्री के सरकारी बंगले में आने-जाने लगा था।