राज्य सरकार द्वारा पारित स्वास्थ्य का अधिकार बिल के विरोध में हड़ताल पर चल रहे निजी चिकित्सकों ने जिला मुख्यालय पर प्रेस काॅन्फ्रेंस कर अपनी बात को रखा। प्रेस वार्ता के दौरान आईएमए जिलाध्यक्ष डाॅ. बीना चौधरी ने बताया कि इस बिल में ऐसा कुछ अलग से नहीं है जो पहले नहीं था। सभी इलाज पहले भी थे और सारे चिकित्सक इस बिल के प्रावधानों के अनुसार ही इलाज कर रहे थे। क्योंकि मानवीय दृष्टिकोण, मेडिकल प्रतिज्ञा सुप्रीम कोर्ट व मेडिकल काउंसिल के नियमों के अनुसार ये सब पहले से ही थे। आरजीएचएस, चिरंजीवी योजना सहित विभिन्न सरकारी योजनाओं का लाभ आम जन को पहले ही मिल रहा है। इस बिल में सिर्फ एक्सीडेंटल इलाज को फ्री किया है वो भी किस शर्त पर होगा वो साफ नहीं है।
उन्होने कहा कि इस बिल से केवल प्रशासनिक दखलंदाजी बढ़ जाएगी। इस अवसर पर उपस्थित चिकित्सकों ने बिल का विरोध करने का कारण बताते हुए बताया कि राज्य सरकार द्वारा पारित स्वास्थ्य का अधिकार बिल के कारण भ्रष्टाचार एवं इंस्पेक्टर राज बढ़ेगा। छोटे छोटे नेता अस्पतालों की व्यवस्थाओं में व्यवधान पैदा करेगें, उपकरण व मशीनें नहीं होने पर भी इलाज करना होगा ऐसे में गम्भीर मरीजों को सही ईलाज नहीं मिल पायेगा, इससे चिकित्सक और पैशेंट के रिश्तों और विश्वास पर कुठाराघात होगा जिससे आपसी सामंजस्य बिगड़ेगा। इस बिल के प्रावधानों के कारण चिकित्सक डर और टेंशन भरे माहौल में जोखिम वाले इलाज से बचने का प्रयास करेगें।
उन्होंने आरोप लगाया कि वर्तमान में सरकारी योजनाओं में सरकार द्वारा समय पर पुनर्भरण नहीं किया जा रहा है। ऐसे में समय पर पुनर्भरण नहीं होते, कम दरों पर काम करने से हॉस्पिटल में आधुनिक उपकरणों के लिए फंड की कमी होने से आधुनिकतम उपकरणों व तकनीकों से आमजन वंचित ही रहेगा। इसके साथ ही चिकित्सकों ने आशंका जाहिर की कि इस बिल के लागू होने से गुणवत्तापूर्ण व अनुभवी चिकित्सकों को सही माहौल नहीं मिलने से राज्य से पलायन की प्रवृत्ति बढ़ेगी।
नए चिकित्सक व बड़े कॉरपोरेट जगत का राज्य में निवेश नहीं होगा। वहीं सरकार का चिकित्सक वर्ग के लिए नकारात्मक दृष्टिकोण, प्रशासनिक दवाव व कार्यस्थल पर अत्यधिक मानसिक दबाव इलाज पर भी असर करेगा। प्रेस वार्ता के दौरान डाॅ. एससी गर्ग, डाॅ. संगीत गर्ग, डाॅ. गोपाल गुप्ता, डाॅ. आशीष गुप्ता, डाॅ. राजीव गुप्ता, डाॅ. विवेक गुप्ता, डाॅ. अर्चना गुप्ता, डाॅ. नरेन्द्र सोनी, डाॅ. शिव सिंह मीणा, डाॅ. विजय बत्रा सहित जिला मुख्यालय के अनेक निजी चिकित्सक उपस्थित थे।