बहरावण्डा खुर्द पंचायत समिति एवं ग्राम पंचायत द्वारा मुख्य मार्गों से लेकर गली मोहल्लों तक में 2019 में कराये गये इंटरलॉकिंग सड़कों के कार्य में करोड़ों के घोटाले का आरोप लगाते हुए दिनेश सैनी ने बताया कि आज भी कई जगह पर इंटरलॉकिंग का कार्य अधूरा ही पड़ा हुआ है।
दिनेश सैनी ने बताया कि ग्राम पंचायत बहरावंडा खुर्द में भी इंटरलॉकिंग विकास कार्यों में भारी अनियमितता एवं भ्रष्टाचार देखने को मिला है।
ग्रामीण दिनेश सैनी ने बताया कि सूचना के अधिकार के तहत ग्राम पंचायत के विकास कार्यों की सूची मांगी थी। ग्राम पंचायत प्रशासन द्वारा 2 माह बाद सूचना उपलब्ध करवाई गई जिसमें ग्राम पंचायत के विकास कार्यों में भारी अनियमितता एवं करोड़ों की बड़ी रकम का भ्रष्टाचार देखने को मिला है। इस मामले में दिनेश सैनी ने उपखंड की ग्राम पंचायत बहरावंडा खुर्द में विगत 5 वर्षों में हुए विकास कार्यों में भ्रष्टाचार का आरोप लगाते हुए निष्पक्ष जांच की मांग की है। इस संबंध में उपखंड अधिकारी सुनील कुमार झिगोनीया, विकास अधिकारी खंडार और पूर्व जिला कलेक्टर नन्नूमल पहाड़िया को भी ग्राम पंचायत के विकास कार्यों में अनियमितता एवं भ्रष्टाचार पर आरोप लगाते हुए संबंधित जिला प्रशासन को कई बार अवगत करवाया गया। लेकिन प्रशासन द्वारा शिकायत के 8 माह बाद भी आज तक कोई कार्यवाही नहीं हो की गई है।
दिनेश सैनी ने बताया कि ग्राम पंचायत बहरावंडा खुर्द में राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय के ब्लॉक ए और ब्लॉक बी में इंटरलॉकिंग का कार्य करवाया गया, जिसकी स्वीकृति में पीसीसी सहित इंटरलॉकिंग का कार्य करवाया जाना था। किंतु ग्राम पंचायत प्रशासन द्वारा बिना पीसीसी के ही इंटरलॉकिंग का कार्य करवा कर पैसा उठाया गया। इस संबंध में ग्राम पंचायत के विकास कार्यों में भ्रष्टाचार परिवाद लेकर 13 जुलाई 2020 को जिला कलेक्टर के आदेश अनुसार जिला परिषद को ग्राम पंचायत की जांच का आदेश दिया गया।
परिषद सवाई माधोपुर के आदेशानुसार भगवान सहाय बैरवा सहायक अभियंता (जिला परिषद ग्रा.वि.प्र.) सवाई माधोपुर, गिर्राज मीणा (परियोजना अधिकारी जिला परिषद सवाई माधोपुर), कैलाश चंद बैरवा (सहायक विकास अधिकारी जिला परिषद सवाई माधोपुर) की जांच कमेटी बनाकर 15 दिवस में जांच रिपोर्ट प्रस्तुत करने के निर्देश दिये गये थे। अधिकारियों ने मौके पर पहुंच कर जांच भी की थी। लेकिन आज तक जांच रिपोर्ट की प्रतिलिपि शिकायतकर्ता को उपलब्ध नहीं करवाई गई साथ ही जांच रिपोर्ट आज तक भी जिला कलेक्टर को प्रस्तुत नहीं की गई है।
इस मामले में स्थानीय लोगों ने राजस्थान सरकार से स्वतंत्र जांच एजेंसी से भ्रष्टाचार मामले की जांच करवाने तथा पंचायती राज विभाग द्वारा इंटरनल ऑडिट के माध्यम से जांच कर दोषियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग की है।
इनका कहना है – ग्राम पंचायत बहरावंडा खुर्द की जांच रिपोर्ट तैयार है, कुछ कागज अभी तक नहीं आए थे आज शायद वह कागज आ गए होंगे जो कैलाश चंद बैरवा सहायक विकास अधिकारी जिला परिषद सवाई माधोपुर के पास है। फाइलों की फोटो कॉपी शायद आई नहीं थी। इस संबंध में रिपोर्ट लेट हुई। भगवान सहाय बैरवा सहायक अभियंता जिला परिषद (ग्रा.वि.प्र.) सवाई माधोपुर।