आदर्श नगर स्थित अणुव्रत भवन में युगप्रधान आचार्यश्री महाश्रमणजी की विदुषी सुशिष्या साध्वीश्री पुण्यप्रभाजी के सानिध्य में अणुव्रत समिति क्षेत्र सवाई माधोपुर द्वारा संस्कार निर्माण हेतु संचालित ज्ञानशाला के नन्हें-मुन्नों का एक दिवसीय शिविर आयोजित किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत कन्यामण्डल की बहिनों के मंगलाचरण से हुई।
साध्वीश्री पुण्यप्रभाजी ने नन्हें मुन्नों को प्रेरणा देते हुए बताया कि बचपन में ग्रहण किये गए सद्संस्कार भविष्य को उज्ज्वल बनाने में सक्षम है। आप बड़े होकर अथाह धन कमा सकते हो जिसको यही छोड़कर जाना है परंतु संस्कार के रूप में जो भी सीखोगे वह भविष्य तो सुधारेगा ही अनन्त तक साथ जाएगा। भलाई कभी भी अकारथ नहीं जाती है इसलिए भलाई का अनुगमन करें व जीवन का निर्माण करें। इस अवसर पर नौ दिन की तपस्या करने वाली बहिन ज्योति संदीप जैन व इकतीस दिन के एकासन का मासखमण करने वाले सुश्रावक बाबूलाल जैन सूरवाल का जैन श्वेतांबर तेरापंथी सभा व तेरापंथ महिला मण्डल द्वारा प्रतीक चिन्ह व साहित्य भेंट कर अभिनंदन किया गया।
इस अवसर पर साध्वीश्री निर्मलप्रभाजी व साध्वीश्री डॉ.जिनयशाजी ने तप अभिनन्दन व प्रेरणा गीत प्रस्तुत किया। प्रज्ञावान श्रावक सौरभ जैन, धनलक्ष्मी जैन, पांथूलाल जैन, रतन लाल जैन आलनपुर, आशुतोष जैन आदि ने तप के संदर्भ में अपनी अपनी अनुमोदना प्रस्तुत की। महिला मण्डल ने गीतिका व ज्ञानशाला के नन्हें मुन्नों ने लघु नाटिका की प्रेरणादायी प्रस्तुति दी। कार्यक्रम का गरिमामय संयोजन पूर्व प्रधानाचार्य चंद्रप्रकाश जैन ने किया।